NCERT Solutions for Class 12 Hindi Aroh Chapter 7 बादल राग

Our detailed NCERT Solutions for Class 12 Hindi Aroh Chapter 7 बादल राग Textbook Questions and Answers help students in exams as well as their daily homework routine.

बादल राग NCERT Solutions for Class 12 Hindi Aroh Chapter 7

बादल राग Questions and Answers Class 12 Hindi Aroh Chapter 7

कविता के साथ

प्रश्न 1.
‘अस्थिर सुख पर दुख की छाया’ पंक्ति में दुख की छाया किसे कहा गया है और क्यों?
उत्तर:
प्रस्तुत पंक्ति में ‘दुख की छाया’ मानव जीवन में आने वाले दुखों, कष्टों, मुसीबतों एवं प्रतिकूल परिस्थितियों को कहा गया है। यह इसलिए कहा गया है क्योंकि सुख-दुःख मानव-जीवन के दो पक्ष हैं जो जीवनभर आते-जाते रहते हैं और दोनों ही अस्थिर हैं।

प्रश्न 2.
‘अशनि-पात से शापित उन्नत शत-शत वीर’ पंक्ति में किसकी ओर संकेत किया गया है?
उत्तर :
‘अशनि-पात से शापित उन्नत शत-शत वीर’ पंक्ति में पूँजीपति या शोषक व धनी-वर्ग के लोगों की ओर संकेत किया गया है। ये धनी वर्ग के लोग क्रांति के दूत बादल की विद्रोहपूर्ण बिजली गिरने से उन्नति के शिखर से पृथ्वी तल पर गिर जाते हैं।

NCERT Solutions for Class 12 Hindi Aroh Chapter 7 बादल राग

प्रश्न 3.
‘विप्लव-रव से छोटे ही हैं शोभा पाते’ पंक्ति में विप्लव-रव से क्या तात्पर्य है? ‘छोटे ही हैं शोभा पाते’ ऐसा क्यों कहा गया है? (A.I. C.B.S.E. 2011, Set-1)
उत्तर
प्रस्तुत पंक्ति में ‘विप्लव रव’ से तात्पर्य क्रांति के विद्रोहपूर्ण शब्दों या गर्जना से है। वह ऐसे लोगों की गर्जना या स्वर है जो सदियों से पूँजीपति वर्ग के शोषण का शिकार होकर दयनीय जीवन जी रहे हैं। ‘छोटे ही हैं शोभा पाते’ ऐसा इसलिए कहा गया है क्योंकि क्रांति का विनाशकारी प्रभाव सदा उच्च या शोषक वर्ग के लोगों पर ही होता है। इस विद्रोह का निम्न या छोटे वर्ग के जनसामान्य पर कोई विनाशकारी प्रभाव नहीं होता। उच्च वर्ग तो क्रांति के शब्दों से भयभीत होता है लेकिन छोटे वर्ग अर्थात जनसामान्य वर्ग के लोग प्रसन्न हो उठते हैं तथा जीवन में शोषण की मार से निकलकर समृद्धि प्राप्त करते हैं।

प्रश्न 4.
पादलों के आगमन से प्रकृति में होनेवाले किन-किन परिवर्तनों को कविता रेखांकित करती है? (C.B.S.E. 2018)
उत्तर
‘बादल राग’ निराला द्वारा रचित एक प्रतीकात्मक कविता है जिसमें कवि ने बादलों का क्रांति के रूप में आह्वान किया है। इस कविता में बादलों के आगमन से पृथ्वी के गर्भ में सोए हुए अंकुर अंकुरित हो उठते हैं। वे अपने मन में नवजीवन का संचार कर अनेक आशाओं के साथ बादलों की ओर देख रहे हैं।

बादलों की घनघोर गर्जना से संपूर्ण संसार भयभीत हो उठता है। उन्नति के शिखर पर पहुँचे सैकड़ों वीर पृथ्वी पर सो जाते हैं। विशालकाय उच्च वर्ग के लोग घायल होकर मर जाते हैं। लेकिन शोषित वर्ग के प्रतीक छोटे भारवाले छोटे-छोटे पौधे हँसते-मुसकराते रहते हैं। वे अपार हरियाली से भरकर, हिल-हिलकर तथा खिलखिलाते हुए हाथ हिलाते रहते हैं। कवि ने इसके माध्यम से बादलों का गर्जना-चमकना, मूसलाधार वर्षा, छोटे-छोटे पौधों का हवा में हाथ मिलाना, कमल के फूल पर जल की बूंद टपकना और कीचड़ का साफ होना दर्शाया है।

व्याख्या कीजिए

1. तिरती है समीर-सागर पर
अस्थिर सुख पर दुःख की छाया
जग के दग्ध हृदय पर
निर्दय विप्लव की प्लावित माया

NCERT Solutions for Class 12 Hindi Aroh Chapter 7 बादल राग

2. अट्टालिका नहीं है रे
आतंक-भवन
सदा पंक पर ही होता
जल-विप्लव-प्लावन
उत्तर :
उत्तर के लिए व्याख्या भाग देखिए।

कला की बात

प्रश्न 1.
पूरी कविता में प्रकृति का मानवीकरण किया गया है। आपको प्रकृति का कौन-सा मानवीय रूप पसंद आया और क्यों?
उत्तर :
हमें प्रकृति का हँसते हुए निर्धन वर्ग का मानवीय रूप पसंद आया क्योंकि समाज में सदा से उच्च वर्ग या पूँजीपति वर्ग के शोषण के कारण निर्धन वर्ग दबता रहा है वह जीवन में आतंकित होकर रहता है। शोषण की पीड़ा के कारण वह तो हँसना ही भूल गया है। लेकिन आज क्रांति के कारण उसे अपने शोषण का अंत दिखाई दे रहा है।

प्रश्न 2.
कविता में रूपक अलंकार का प्रयोग कहाँ-कहाँ हुआ है? संबंधित वाक्यांश को छाँटकर लिखिए।
उत्तर
कविता में रूपक अलंकार का प्रयोग निम्नलिखित वाक्यांशों में हुआ है

  • यह तेरी रण-तरी
  • घोर वज्र-हुँकार
  • वज्र-वर्णन।

प्रश्न 3.
इस कविता में बादल के लिए ऐ विप्लव के वीर! ऐ जीवन के पारावार! जैसे संबोधनों का इस्तेमाल किया गया है। बादल राग’ कविता के शेष पाँच खंडों में भी कई संबोधनों का इस्तेमाल किया गया है। जैसे-अरे वर्ष के हर्ष! मेरे पागल बादल!, ऐ निबंध!, ए स्वच्छंद!, ऐ उद्दाम!, ऐ सम्राट!, ऐ विप्लव के प्लावन!, ऐ अनंत के चंचल शिशु सुकुमार! उपर्युक्त संबोधनों की व्याख्या करें तथा बताएं कि बादल के लिए इन संबोधनों का क्या औचित्य है?
उत्तर
ऐ विप्लव के वीर – इसका अर्थ है-हे क्रांति.के वीर! यहाँ कवि ने बादल को क्रांति का दूत माना है। बादलों में अपार शक्ति : है। वे कोई भी क्रांति लाने में समर्थ हैं। वे अपनी शक्ति से ब्रह्मांड तक को हिला सकते हैं, इसलिए कवि ने उनको वीर कहा है।

ऐ जीवन के पारावार – इसका अर्थ है-हे जीवन के सागर, यह सत्य है कि जल ही जीवन है। और बादल ही जल का सागर है। अत: जिस प्रकार बादलों के बरसने से फसलें और पौधे हरे-भरे हो जाते हैं उसी प्रकार क्रांति के स्वरों से निम्न वर्ग के लोगों में नए जीवन का संचार हो जाता है। वे प्रसन्न हो उठते हैं।

अरे वर्ष के हर्ष – इसका अर्थ है कि हे पूरा साल प्रसन्नता देने वाले, बादलों के बरसने से चारों ओर हरियाली रहती है। फसलें हरी-भरी होती हैं जिससे जन-मन प्रसन्नचित्त रहता है।

मेरे पागल बादल – इसका अर्थ है कि हे मस्ती में मस्त बादल, बादल अपनी मस्ती में रहते हैं। वे मस्ती में मस्त होकर वर्षा करते हैं। इसलिए कवि ने उन्हें पागल कहा है।

ऐ निबंध – कवि का तात्पर्य है कि हे बंधन मुक्त बादल, बादल बंधन, रुकावटों से दूर होते हैं। उन्हें कोई अपने वश में नहीं कर सकता है। वे स्वतंत्र होकर अपने कार्य में लीन रहते हैं।

NCERT Solutions for Class 12 Hindi Aroh Chapter 7 बादल राग

ऐ स्वच्छंद – इसका अभिप्राय है कि हे स्वतंत्र बादल, अर्थात बादल कभी भी परवश नहीं होते। वे अपनी इच्छा से यहाँ-वहाँ विचरण करते हैं, वर्षा लाते हैं।

ऐ उद्दाम – इसका अर्थ है कि हे निरंकुश बादल, बादल एक निरंकुश शासक की तरह कार्य करते हैं। वे अपनेपन की इच्छा को पूर्ण करते हैं।

ऐ सम्राट – इसका तात्पर्य यह है कि हे सम्राट के समान बादल, अर्थात बादलों का साम्राज्य पूरी दुनिया पर छाया रहता है। सारी दुनिया बादल रूपी सम्राट की छत्र-छाया में निवास करती है। अतः उसका शासन सारी दुनिया पर चलता है। ऐ अनंत के चंचल शिशु सुकुमार! कवि का कथन है कि हे प्रभु के चंचल, कोमल बच्चे! अर्थात बादल उस असीम सभा के कोमल और चंचल बच्चे के समान है। और जैसे आँगन में चंचल, कोमल बच्चा अनेक क्रीड़ाएँ करता है उसी प्रकार ये बादल भी उस असीम प्रभु के आँचल में अनेक प्रकार की क्रीड़ाएँ करते हैं।

प्रश्न 4.
कवि बादलों को किस रूप में देखता है? कालिदास ने मेघों को दूत के रूप में देखा। आप अपना कोई बिंब दीजिए। कवि बादलों को क्रांति के दूत के रूप में देखता है।
उत्तर
वह बादलों के द्वारा क्रांति लाकर समाज में शोषण को खत्म करना चाहता है
ताकि निर्धन वर्ग भी जीवन जी सके।
बादल आए, बादल आए
नन्हे-मुन्ने बादल आए।
कुछ खुशियाँ, कुछ गम
पिटारा-सा भर लाए।
मिट्टी को प्यार जताने
चहुँ ओर खुशियाँ दिखाने
काले-काले बादल आए।
बादल आए, बादल आए।
नन्हे-मुन्ने बादल आए॥
कालिदास ने मेघदूत काव्य में मेघों को दूत के रूप में देखा था। बादलों को देवदूत के रूप में देखा जा सकता है जो किसान की फ़सल को जीवन देने आते हैं।

NCERT Solutions for Class 12 Hindi Aroh Chapter 7 बादल राग

प्रश्न 5.
कविता को प्रभावी बनाने के लिए कवि विशेषणों का सायास प्रयोग करता है, जैसे-अस्थिर सुख। ‘सुख’ के साथ ‘अस्थिर’ विशेषण के प्रयोग ने सुख के अर्थ में विशेष प्रभाव पैदा कर दिया है। ऐसे अन्य विशेषणों को कविता से छाँटकर लिखें तथा बताएँ कि ऐसे शब्द-पदों के प्रयोग से कविता के अर्थ में क्या विशेष प्रभाव पैदा हुआ है?
उत्तर :
निर्दय-विप्लव,-सजग सुप्त-अंकुर, विप्लव के बादल, आतंक-भवन ऐसे पदों के प्रयोग से कविता के अर्थ में विशेष प्रभाव पैदा हो गया है। भावों में अत्यंत रोचकता, गंभीरता और सरसता उत्पन्न हो गई है।

error: Content is protected !!